बीरोंखाल में जंगली मशरूम खाने से लखीमपुर खीरी के आठ बीमार, अस्पताल में भर्ती
यमकेश्वर, 18 जुलाई। पौड़ी गढ़वाल के कोटद्वार के बीरोंखाल में जंगली मशरूम (सिंगान) खाने से उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी निवासी आठ मजदूर बीमार हो गए। सभी मजदूरों को आनन-फानन में सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र बीरोंखाल में भर्ती कराया गया, जहां उपचार के बाद मजदूरों की हालत अब खतरे से बाहर बताई जा रही है।
बीरोंखाल के फरसाड़ी बाजार में काम कर रहे थे सभी
उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी के 12 मजदूर पिछले काफी समय से बीरोंखाल के अंतर्गत फरसाड़ी बाजार में रह रहे हैं। ये मजदूर लोक निर्माण विभाग की सड़कों के किनारे डेलीनेटर (सुरक्षा संकेतक) लगाने के काम में जुटे हैं। बृहस्पतिवार सुबह कुछ मजदूर पास ही के जंगली मशरूम तोड़कर लाए थे। काम पर जाने से पहले आठ मजदूरों ने मशरूम की सब्जी और रोटी खाई। कुछ ही देर में मजदूरों को उल्टियां आने लगी और पेट दर्द की शिकायत हुई।
समय रहते उपचार से बच गयी जान
देखते ही देखते उनकी हालत बिगड़ने लगी। जिन मजदूरों ने मशरूम की सब्जी नहीं खाई थी, उन्होंने लोक निर्माण विभाग के बेलदार और ठेकेदार को घटनाक्रम के बारे में बताया। बेलदार मधुबन विभागीय वाहन से सभी मजदूरों को लेकर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र बीरोंखाल पहुंचा। प्रभारी चिकित्सक डॉ. शैलेंद्र रावत ने सभी मजदूरों को भर्ती कर उपचार शुरू किया। कई घंटों के उपचार के बाद मजदूरों की हालत में कुछ सुधार हुआ। डॉ. शैलेंद्र रावत ने बताया कि समय रहते उपचार मिलने से मजदूरों की जान बच गई। अब सभी मजदूर खतरे से बाहर हैं। https://sarthakpahal.com/
सभी बीमार यूपी लखीमपुर खीरी के
उत्तर प्रदेश के जिला लखीमपुर खीरी निवासी राज मिश्रा (26), रंजीत (24), अजय (23), राजेश (26), सुनील (24), ध्रुव कुमार (25), रविंद्र (24), रंजीत (22) जहरीली मशरूम खाने से बीमार हुए हैं।
जंगल में उगने वाली अधिकांश मशरूम जहरीली और खाने के लिए असुरक्षित होती हैं। कुछ मशरूम तो इतनी जहरीली होती हैं कि जान जाने का भी खतरा बना रहता है। इन्हें खाने से बचना चाहिए।
डॉ. शैलेंद्र रावत, प्रभारी सीएचसी बीरोंखाल