मेडिकल कालेज मेरठ में सर्जरी कराकर दो युवक बने लड़की, 4 घंटे चला आपरेशन
मेरठ। मेडिकल कालेज में सर्जरी कराकर दो युवक लड़की बन गये। उनमें से एक हिंदू तो दूसरी मुस्लिम धर्म को मानने वाली है। इनके परिवार को जब इस बात का पता चला तो इन्होंने मेडिकल कालेज में संपर्क किया। मेडिकल कालेज में पहली बार महिला बनाने के लिए सर्जरी की गयी है। एक मुजफ्फरनगर और दूसरे बिजनौर का रहना वाला है। एक की उम्र 18 और दूसरे की 24 साल है।
मेरठ में एलएलआरएम मेडिकल कालेज के सुपर स्पेशियलिटी ब्लाक में वरिष्ठ सर्जन डा. सुधीर राठी और उनकी टीम ने दो युवकों को सर्जरी कर लड़की बनाया है। डा. राठी ने दावा किया कि पश्चिमी यूपी के मेडिकल कालेज में पहली बार नई तकनीक से पुरुष से महिला बनाने के लिए सर्जरी की गयी है, जो करीब चार घंटे चली और आपरेशन सफल रहा। एक को अस्पताल से छुट्टी दे दी गयी है, जबकि दूसरा अभी अस्पताल में भर्ती है। सर्जरी में बड़ी आंत का इस्तेमाल नई वैजाइना बनाने में किया गया है।
लड़कियां तो बनी, लेकिन संतानोत्पत्ति नहीं हो सकती
डा. राठी ने कहा कि लड़कों से लड़की बनने के बाद ये शादी कर सकती हैं, पर संतानोत्पत्ति की आस मत लगाएं। लड़कियों में एक्सएक्स क्रोमोसोस होते हैं, जबकि लड़कों में एक्सवाई क्रोमोसोस। इनमें एक्सएक्स थे, जिस वजह से इनमें लड़कियों के लक्षण थे।
सर्जरी से मेडिकल कालेज नई ऊंचाइयों पर
प्राचार्य डा. आरसी गुप्ता का कहना है कि मेडिकल साइंस ने अब इतनी तरक्की कर ली है कि जो जिस तरह से जिंदगी जीना चाहे जी सकता है। मेडिकल कालेज सर्जरी में ऊंचाइयां छू रहा है। अब दिल्ली या किसी और बड़े सेंटर जाने की जरूरत नहीं रह गयी है।
जिला अस्पताल के मनोरोज विशेषज्ञ का. कमलेंद्र का कहना है कि ज्यादातर केसेस समाज में स्वीकार्यता के होते हैं। व्यक्ति जैसा रहना चाहता है, व्यक्ति उसी रूप में उसे स्वीकार करे। इसके अलावा कुछ हार्मोनल समस्याएं होती हैं, उस कारण से भी लोग ऐसा करते हैं।